सीधी : कलेक्टर विशेष गढ़पाले ने ईको सेन्टर सभाकक्ष में समस्त राजस्व अधिकारियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि पटवारी अपने निर्धारित मुख्यालय में ही रहें। यदि वे मुख्यालय में नहीं रह रहे हैं तो रहना प्रारंभ कर दें और अपने आवास का पता प्रेषित करें। उन्होंने कहा कि वर्ष में एक बार किसानों को खसरा और खतौनी की नकल उपलब्ध करायें। बैठक में अपर कलेक्टर डा0 एम.पी.पटेल, एस.डी.एम. शैलेन्द्र सिंह, एम.पी.बरार एवं पी.एस.त्रिपाठी तथा तहसीलदार, राजस्व निरीक्षक और पटवारी उपस्थित थे। कलेक्टर श्री गढ़पाले ने पटवारियों को सम्बोधित करते हुए कहा कि सीमांकन के प्रकरण किसी भी दशा में लम्बित न रखा जाय और नक्शा तरमीम करें। सीमांकन के प्रकरण लम्बित रहने पर संबंधित के विरूद्ध कड़ी अनुशासनात्मक कार्यवाही की जायेगी। उन्होंने कहा कि सीएम हेल्पलाईन, जनसुनवायी और पीजी के प्रकरणों का पालन किया जाय। सीधी और सिहावल में बड़ी संख्या में जाति प्रमाणपत्र के आवेदन लम्बित हैं इसका निराकरण हल्काबार शिविर आयोजित कर 30 सितम्बर तक कर दिया जाय। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ग्रामीण आवास मिशन के तहत हितग्राहियों को राजस्व की पूर्ति कर चैहद्दी का भी उल्लेख करें। भू-अर्जन के प्रकरण तुरन्त अभिलेखों में चढ़ाया जाय। मतदाता सूची का प्रकाशन एक नवम्बर को किया जाना है। अतः इसमें आवश्यक कार्यवाही करें। पटवारी अपने आवासों में अनिवार्य रूप से शौंचालय बनवायें। एस.डी.एम. और तहसीलदार रात को आयोजित होने वाली चैपालों में पहॅंुच रहे हैं। संबंधित पटवारी भी रात्रि चैपाल में उपस्थित होकर प्रकरणों का निराकरण करें। कलेक्टर श्री गढ़पाले ने कहा कि कृषि विभाग के अधिकारियों के साथ मिलकर फसल कटाई प्रयोग करें। उन्होंने इस वर्ष कम वारिश होने पर पटवारीवार फसल नुकसानी की जानकारी ली और निर्देश दिए कि बिना किसी भेदभाव के फसल नुकसानी के सर्वे कर प्रकरण बनायें। जब भी पटवारी फसल नुकसानी का सर्वे करने जांय अपने साथ जन प्रतिनिधि, सरपंच, सचिव और कृषि विभाग के अमले को साथ में रखें। स्थल में पहुॅचकर नुकसानी का पंचनामा बनायें। यदि कोई कृषक कहता है कि हमारे यहाॅ नुकसानी हुई है तो उसके खेत में अनिवार्य रूप से जांय। सर्वे के दौरान किसान का बैंक खाता एवं बैंक का नाम की जानकारी संग्रह कर लें। सर्वे के दौरान किसी भी प्रकार की शिकायत नहीं मिलनी चाहिए। सर्वे के लिए खेतों का भ्रमण करें और ग्रामीणों से मिल कर आयें। इस दौरान सर्व सुलभ जगह में बैठे ताकि मालुम हो जाय कि पटवारी द्वारा फसल नुकसानी का सर्वे किया जा रहा है। कलेक्टर द्वारा पटवारी एवं आरआई से कम वर्षा से प्रभावित फसलों की नुकसानी की जानकारी लेने पर बताया गया कि मझौली क्षेत्र में धान की 40 प्रतिशत नुकसानी हुई है। मड़वास में 45 प्रतिशत तक नुकसानी है। कुसमी में धान की फसल को नुकसान पहुॅचा है। सिहावल में फसल ठीक है। बमुरी एवं टीकट में फसल ठीक है। बहरी में मकाई की फसल सूख गई है। धान 25 से 30 प्रतिशत सूख गयी है, उड़द एवं मूंग की फसल को नुकसानी हुई है। चुरहट में धान की फसल सूख गई है। गोपद बनास के सतनहरा में धान एवं मक्का सूख गया है। दलहन फसलों में 80 प्रतिशत नुकसानी हुई है। बैठक में कलेक्टर ने पटवारियों की समस्याओं को भी सुना और निराकरण के निर्देश दिए।