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Home सीधी दर्पण सामाजिक संगठनों की हुई सामूहिक सभा,मिलकर निकालेगे किसानों की समस्या का हल....

सामाजिक संगठनों की हुई सामूहिक सभा,मिलकर निकालेगे किसानों की समस्या का हल....



पथरौला/सीधी(ईन्यूज यमपी) :- तहसील क्षेत्र मझौली अंतर्गत ग्राम मूसामूड़ी एवं भुमका में भाजपा सरकार के समय वर्ष 2010 से 11 में 1100 हेक्टेयर कृषि योग्य उपजाऊ जमीन फर्जी ग्राम सभा कर कूट रचित दस्तावेजों के आधार पर मेंसर्स आर्यन पावर प्लांट के पक्ष में अधिग्रहित कर दिया था।
यहां यह भी काबिले गौर है कि जिन लोगों ने मुआवजा नहीं लिया उनके खाते में जबरन बैंक मैनेजर से सांठगांठ कर कंपनी व तत्कालीन प्रशासन ने डलवा दिया था।अधिग्रहण के खिलाफ मूसामूड़ी व भुमका के किसानों ने टोको -रोको -ठोंको क्रांतिकारी मोर्चा एवं कम्युनिस्ट पार्टी के संयुक्त नेतृत्व में लगातार लड़ाई लड़ी एवं जमीन ना देने की बात पर अडिग रहें। इस बीच कंपनी ने कुछ लोगों को दलालों द्वारा प्रलोभन अथवा डरा धमकाकर कुछ अवार्ड तो उठवा दिया लेकिन यह नए कानून की आस्थाओं को पूरा नहीं कर सके। नए कानून के तहत अगर 5 साल के अंदर कंपनी मौके पर काबिज नहीं है।अथवा उस दिनांक तक 50% से कम एवार्ड का भुगतान हुआ हो।दोनों ही परिस्थितियों में उन भूमियों का भूमि स्वामी किसान स्वयं हो जाएगा और प्रशासन को भू अभिलेख में किसानों को भूमि स्वामी दर्ज करना चाहिए।लेकिन प्रदेश की भाजपा सरकार नई नीति को भी धता बताते हुए आज दिनांक तक किसानों को भूस्वामी दर्ज नहीं किया गया है जबकि मौके से आज भी किसान काबिज कास्त हैं।
उसी तारतम्य में आज भुमका में ग्राम में सभा आयोजित की गई। जिसमें अखिल भारतीय किसान सभा के राष्ट्रीय संयुक्त सचिव एवं मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी राज्य समिति सदस्य कामरेड बादल सरोज मुख्य अतिथि रहे जबकिटोंको-रोको-ठोको क्रांतिकारी मोर्चा के कार्यकर्ता शिवकुमार सिंह द्वारा अध्यक्षता की गई। बादल सरोज द्वारा कहा गया जो अधिकार 15 वर्षों से नीतिगत ढंग से छीने गए थे। उनको संघर्ष के हवाले बहाल कराना उनके आंदोलन का मुख्य मकसद है । उनके द्वारा आश्वस्त किया गया कि यहां एक विशाल जनसभा का आयोजन किया जाता है ।तो राष्ट्रीय स्तर के समाजवादी संघर्षशील नेतृत्व को यहां लाया जाएगा।जिनके द्वारा यहां के किसान मजदूर के संघर्ष को बल मिलेगा और यह लड़ाई राष्ट्रीय स्तर पर पहुंचेगी।मध्यप्रदेश किसान सभा के राज्याध्यक्ष रामनारायण कुररिया ने कहा यह किसान मजदूरों के संघर्ष का नतीजा है। कि प्रदेश में सत्ता तो बदल गई लेकिन व्यवस्था बदलने के लिए अभी संघर्ष की जरूरत है। वहीं सभा के संयोजक व क्रांतिकारी मोर्चा के संयोजक उमेश तिवारी ने कहा कि सिर्फ सत्ता बदलने से उद्देश पूरा नहीं हो जाता है। अभी भी अपने अधिकार और हक के लिए संघर्ष करना समय की जरूरत है।और हम समाजवादी लोग समाज के अधिकारों के लिए लड़ते हैं और लड़ते रहेंगे।,कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया के जिला अध्यक्ष कामरेड सुंदर सिंह ने कहा कि गत दो दशक से लोगों के अधिकार और समस्याओं को लेकर संघर्ष जारी है और जारी रहेगा ।लेकिन जनता को संगठित होने की जरूरत है तभी मुकाम हासिल किया जा सकता है। माकपा जिला सिंगरौली के सचिव कामरेड रामलल्लू गुप्ता ने कहा कि सबसे पहले सिंगरौली जिला में इसी तरह जमीन अधिग्रहण कर वहां के लोगों को विस्थापित किया गया। जिनका दर्द मैं रोज देखता हूं ।लेकिन यहां के ग्रामीणों को इस तरह दिन ना देखने पड़ें जिसके लिए एक बड़े आंदोलन की जरूरत है।सभा के अंत में सभा की अध्यक्षता कर रहे स्थानीय किसान कुमार सिंह द्वारा सबके प्रति आभार प्रकट करते हुए आश्वस्त किया गया कि ग्राम भुमका में एक बड़ी जनसभा आयोजित की जाएगी।सभा में सभी वक्ताओं ने किसान हितों एवं अधिकारों के साथ साथ तमाम व्यवस्थाओं और जनहित के मुद्दों पर शासन प्रशासन को जनहित का कार्य करने के लिए बाध्य करने के हिसाब से आगे बृहद आंदोलन किए जाने का निर्णय लिया गया है।कार्यक्रम में सहयोगी कार्यकर्ताओं में भूपेंद्र कुशवाहा ,विजय बहादुर सिंह, शालिक द्विवेदी , दिनेश कुशवाहा, मुनी महेश सिंह वंश बहादुर सिंह, महावीर सिंह, राम सिंह, राजकुमार सिंह, गणेश पनिका, हरदत्त सिंह सहित काफी मात्रा में स्थानीय किसान मजदूर शामिल रहे।

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