सीधी (ईन्यूज एमपी)-सहायक आयुक्त जनजातीय कार्य विभाग ने जानकारी दी है कि आयुक्त, जनजातीय कार्य विभाग म0प्र0 भोपाल द्वारा अनुसूचित जनजाति वर्ग के छात्रावास/आश्रमों में पदस्थ अधीक्षक/संविदा अधीक्षक एंव अन्य शिक्षक जो अधीक्षक का कार्य कर रहे हैं, उन्हे बतौर अधीक्षक अधिकतम 03 वर्ष की अवधि के लिये ही पदस्थ किये जायें, तीन वर्ष की पदस्थापना पश्चात् शालाओं में शैक्षणिक कार्य करने के लिये मुक्त किया जावे तथा तीन वर्ष तक शालाओं में शैक्षणिक कार्य करने के पश्चात् ही पुनः अधीक्षक बनाये जाने के निर्देश दिये गये हैं । ऐसी स्थिति में उपरोक्त आदेश के परिपेक्ष्य में प्रथम दृष्टया जिले में संचालित छात्रावास/आश्रमों मे 10 वर्ष से अधिक अवधि से अधीक्षक पद का दायित्व निर्वहन करने वाले अनुसूचित जाति के 06 एंव जनजाति के 18 छात्रावास/ आश्रमों के अधीक्षकों/अधीक्षिकाओं को विभागीय शैक्षणिक संस्थाओं में शैक्षणिक कार्य के लिए पदस्थ किया जाना है । तथा उनके स्थान पर 24 छात्रावास/आश्रमों के संचालन के लिये अधीक्षक/अधीक्षिका पद का कार्य करने के लिए इच्छुक अनुसूचित जाति /जनजाति वर्ग के प्राथमिकता क्रम मे जनजातीय कार्य विभाग एवं स्कूल शिक्षा विभाग के शिक्षक/सहायक शिक्षक, अध्यापक एंव सहायक अध्यापक अपने आवेदन-पत्र दिए गए शर्तो का पालन करते हुये कार्यालय कलेक्टर (जनजातीय कार्य विभाग) सीधी में दिनांक 16.02.2018 तक कार्यालयीन समय प्रातः 11 बजे से शायं 04 बजे के मध्य जमा कर सकते हैं। उन्होने बताया कि आवेदन की शर्तें- छात्रावास/आश्रम संचालन के लिए अनुसूचित जाति/जनजाति कार्य विभाग द्वारा निर्देशों का पालन बंधनकारी होगा, कार्यरत अवधि में किसी भी प्रकार की अनियमितता एंव गबन पाये जाने पर दण्डात्मक एंव वसूली की कार्यवाही के लिए जनजातीय कार्य विभाग को होगा, आवेदन-पत्र के साथ सौपे गये अधीक्षक का पद के दायित्व का निर्वहन निष्ठापूर्वक करने संबंधी रू0 10.00 के स्टाम्प पेपर जो नोटरी से प्रमाणित हो, संलग्न करना अनिवार्य होगा, आवेदन-पत्र के साथ स्व-प्रमाणित जाति प्रमाण-पत्र, निवास प्रमाण-पत्र, नियुक्ति आदेश एंव पदस्थापना आदेश की छायाप्रति संलग्न करना अनिवार्य होगा, आवेदन पत्र के साथ संस्था प्रधान, संकुल प्रचार्य एंव जिला विभाग प्रमुख का अनापत्ति प्रमाण-पत्र संलग्न करना होगा तथा छात्रावास/आश्रम में अधीक्षक पद का दायित्व निर्वहन करने के एवज में किसी प्रकार का कोई पारिश्रमिक देय नही होगा, हैं।