सीधी(ईन्यूज़ एमपी)- सीधी विधानसभा के भाजपा विधायक पंडित केदारनाथ शुक्ला ने आज नरक चतुर्दशी के दिन जिले बासियों को शुभकामनाएँ देते हुये बताया है की आज के ही दिन विंध्य क्षेत्र आजाद हुआ था। उन्होंने रोचक इतिहास साझा करते हुये कहा है की, आज ही के दिन भगवान श्री कृष्ण ने नरकासुर का वध किया था। कैमोर पर्वत पर उसने अभेद्य किला बना रखा था। उन्होंने बताया है कि सीधी जिले के चुरहट के निकट मवई गांव के पास पहाड़ पर उसके किले के अवशेष हैं। उसका रक्तिम पंजा अभी भी चट्टान पर देखा जा सकता है।उसके रक्त से बही नरकुंई नदी वंही से निकली है। अभी कुछ वर्षों पूर्व तक सवर्ण लोग नरकुंई के जल का स्पर्श नही करते थे। जन श्रुति है कि बम्हनी के पास हस्तिनापुर गांव में दो स्तूपनुमा पहाड़ हैं।उन्हीं को मचान के रूप में प्रयोग कर भगवान श्री कृष्ण ने उसे मारा और 16100 राज कुमारियों को उसके कारागार से छुड़ाया। विंध्य के लोगों ने उस आततायी असुर के मारे जाने पर स्तुति की।विंध्य के लोग भगवान श्री कृष्ण के इन सभी राजकुमारियों से विवाह के साक्षी बने। विधायक श्री शुक्ल ने ईन्यूज़ एमपी के साथ इतिहास साझा करते हुये कहा है की बम्हनी के पास हस्तिनापुर गावं में दो स्तूपनुमा पहाड़ हैं। इन पहाड़ों को रहिला और भूसा कहते हैं। ऐसा इसलिये कहा जाता है क्यौंकि इन दोनों पहाड़ों मे से एक का आकार चना की राशि की तरह और दूसरे का आकार भूसा उंकाव ke नुमा है ।