मध्यप्रदेश की धरती पर और रायसेन जिले के बरेली तहसील के पास छींद गांव है, यहीं है चमत्कारी छींद धाम...जहां बजरंगबली का ऐसा मंदिर है... जहां भक्तों की हर मनोकामना पूरी होती है, छींद में हनुमान दादा जी लोगों की आस्था का प्रमुख केंद्र हैं..यहां साल भर भक्तों का तांता लगा रहता है खासकर हर मंगलवार को भक्त यहां माथा टेकने आते हैं मध्य प्रदेश के अलावा आस-पास के राज्यों से श्रद्धालु यहां आकर हाजिरी लगाते हैं...मंदिर समिति के अध्यक्ष कृष्णकुमार रघुवंशी जब मंगला आरती की शुरुआत करते हैं...तो गर्भ गृह से लेकर बाहर जहां तक उनकी गूंज जाती है...वहां तक मौजूद भक्त प्रभु की भक्ति में लीन हो जाते हैं आज अषाढ़ के दुइज के दिन.. दद्दा जी के दरबार में हजारों की संख्या में भक्त देर रात से ही प्रभु का दर्शन करने पहुंचे थे....जैसे-जैसे आरती का वक्त हो रहा था....श्रद्धालुओं की भीड़ बढ़ती जा रही थी....और सुबह 4 बजे जब करीब एक घंटे की आरती शुरु हुई तो सीता-राम से पूरा मंदिर परिसर गूंज ऊठा... मंदिर समिति के अध्यक्ष कृष्णकुमार रघुवंशी ने मंदिर परिसर में श्रद्धालुओं का ख्याल रखते हुए दर्शन के लिए उचित इंतजाम कराया है...छींद धाम में हनुमानजी को भक्त दादाजी कहते हैं.. मंदिर स्थापना की कहानी भी हैरान करने वाली है...स्थानीय लोगों का कहना है कि ये मंदिर बने 200 साल से अधिक हो गए हैं वैसे तो यहां रोजाना बड़ी संख्या में लोग दर्शन करने पहुंचते हैं... लेकिन रामनवमी, हनुमान जयंती, नव वर्ष, दशहरा, मकर संक्रांति जैसे त्योहारों पर लोगों की संख्या काफी ज्यादा बढ़ जाती है...ऐसी मान्यता है यहां पांच मंगलवार हाजिरी लगाने से बजरंगबली हर मनोकामना पूरी करते हैं..और फिर मनोकामना पूरी होने पर भक्त भंडारा और भजन कीर्तन का आयोजन करते हैं