भोपाल (ईन्यूज एमपी)- जब तक बच्चे आत्मनिर्भर नहीं बनेंगे, तब तक मध्यप्रदेश आगे नहीं बढ़ेगा। लक्ष्य तय कर रोडमैप बनाएं और उस पर अमल करें, तो सफलता जरूर मिलेगी। मजदूरों और गरीब बच्चों की पढ़ाई में बाधा नहीं आने देंगे। ये बात मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को मिंटो हॉल में लैपटॉप राशि वितरण के वर्चुअल कार्यक्रम में कही। उन्होंने चार मेधावी विद्यार्थियों से बात की और उन्हें पढ़ाई के लिए हरसंभव मदद का आश्वासन दिया। 12वीं की बोर्ड परीक्षा में 94 फीसद से अधिक अंक लाने वाली सतना की दिव्यांग छात्रा कीर्ति कुशवाहा की आंखों का इलाज चेन्नई के शंकर नेत्रालय में कराने की बात कही। साथ ही उसकी पढ़ाई का पूरा खर्च उठाने की भी जिम्मेदारी भी ली, वहीं रीवा के छात्र कृष्ण कुमार केवट की सराहना की। कृष्ण कुमार ने बताया कि उसके दोनों हाथ नहीं हैं। उसने पैर से लिखकर 82 प्रतिशत अंक हासिल किए। मुख्यमंत्री ने कृष्ण की पढ़ाई का खर्च व कृत्रिम हाथ लगवाने की जिम्मेदारी ली। उन्होंने स्कूल शिक्षा विभाग और रीवा कमिश्नर राजेश जैन को व्यवस्था करने के निर्देश दिए। रीवा की 97 फीसद अंक लाने वाली खुशी कुमारी से भी मुख्यमंत्री ने बात की। कार्यक्रम में बोर्ड की 12वीं कक्षा की परीक्षा में 80 फीसद से अधिक अंक लाने वाले 40436 विद्यार्थियों को लैपटॉप के लिए 25-25 हजार रुपये की राशि दी गई।