सीधी (ईन्यूज एमपी) जिले में त्रिस्तरीय पंचायत एवं नगरी निकाय चुनाव सम्पन्न हुये ज़हा भाजपा को पंचायत व निकाय चुनाव दोनों में अनेक स्थानों पर हार का सामना करना पड़ा जिसकी धमक भोपाल तक पंहुची है । हार से घबड़ाया प्रदेश संगठन द्वारा कारणों को जानने दो सदस्यीय टीम गठित कर सोमवार को सीधी भेजा था , टीम में कुशल संगठक राजनीतिज्ञ शुरेष आर्य और बीजेपी भोपाल के पूर्व जिलाध्यक्ष विकास मनानी सीधी पंहुचकर उपस्थित प्रत्येक कार्यकर्ताओं से वन टू वन गुटबाजी व हार की समीक्षा की । वतादें कि अभी हाल ही में पांच जनपद पंचायतों में अध्यक्षों का चुनाव सम्पन्न हुआ ,प्रदेश में बीजेपी की सरकार होने के बाबजूद भी चार जनपदों में बीजेपी का खाता नही खुला जबकि सीधी जनपद में सारे विरोधी एकसाथ लामबंद रहे उसके वावजूद भी सीधी विधायक केदारनाथ शुक्ल ने धर्मेन्द्र सिंह परिहार को अध्यक्ष वनाने में कामयाब रहे हैं वंही कुशमी , मझौली , सिहावल और रामपुरनैकिन में कांग्रेस का कब्जा हो गया । यही हाल नगरी निकाय चुनाव का रहा है , बात करें सीधी नपा की जंहा 24 में से केवल और केवल 6 पार्षद बीजेपी के जीते हैं और कांग्रेस अपना अध्यक्ष और उपाध्यक्ष वनाने में सफल रही है । इसी तरह चुरहट नगर परिषद में भी कांग्रेस ने अपना अध्यक्ष व उपाध्यक्ष वनाने में कामयाब रही हे , सबसे दिलचस्प चुनाव मझोली में रहा है जंहा लवकेश सिंह को भाजपा ने अपना अधिकृत तौर से अपना उम्मीदवार वनाया वंहीं बीजेपी का दूसरा धड़ा नेतृत्व करते हुये सीधी के बीजेपी विधायक केदारनाथ शुक्ल के संरक्षण में शंकरलाल गुप्ता को अध्यक्ष प्रत्याशी वनाया था जो निर्दली पार्षदों के संहयोग से बीजेपी के अधिकृत अध्यक्ष प्रत्याशी लवकेश सिंह को एक मत से पराजित कर चौंका दिया । केवल रामपुरनैकिन नगर परिषद सीट ऐसी रही जंहा भाजपा अपनी चाल चलकर कांग्रेस को परास्त करने में कामयाब रही । लेकिन अगर हम यंहा जिला पंचायत सीधी की बात न करें तो बेमानी होगी ... जंहा पर बीजेपी के 8 सदस्य होने के बाबजूद भी कांग्रेस के मंजूराम जी सिंह को बीजेपी की सदस्यता दिलाकर दोपहर में कांग्रेस की बैशाखी पर बीजेपी ऐनकेन प्रकारेण अपना अध्यक्ष वनाने में कामयाब हो गई । विदित हो कि सीधी जिले में सम्पन्न हुये दोनो चुनाव की पराजय व सत्ता संगठन की गुटबाजी की समीक्षा करने सीधी आये आर्य और मनानी ने अलग अलग विधायक के अलावा पार्टी के पदाधिकारी , कार्यकर्ता , हारे जीते पार्षदों से कारणों की जानकारी हांसिल की है । सोमवार को एक निजी होटल में दोपहर से शाम तक वन टू वन का दौर चलता रहा , अंत में सभी के सुझावों व शिकवा शिकायतों को डायरीवद्ध कर भोपाल रवाना हो गये है । अव दिलचस्प यह है कि प्रदेश संगठन के सामने सीधी संगठन की जब डायरी खुलेगी तब जाकर कई राज खुलेगें , अफवाहों की बाजार तो वहुत कुछ है तरह तरह की बातें हैं... लेकिन सच्चाई तो तब सामने आयेगी जब वाकई डायरी से निकले तथ्यों पर संगठन अमल करे, इस बात का कार्यकर्ताओं को बेसब्री से इंतजार है।