भोपाल (ईन्यूज़ एमपी)। देश में पल्स पोलियो अभियान की शुरुआत 3 दिसंबर 1995 को हुई थी। 25 साल पूरे होने पर स्वास्थ्य विभाग द्वारा इस अवसर पर अनूठी पहल की जा रही है। इसमें हर गांव में शुरुआती मुहिम में पोलियो खुराक ले चुके 3 से 5 लोगों को ब्रांड एंबेसडर बनाया जाएगा। वे घर घर जाकर बताएंगे कि टीकाकरण कितना जरूरी है और वह खुद टीका लगवाने के बाद पोलियो से कैसे बचे हुए हैं। इसका फायदा यह होगा कि समुदाय के लोग टीका लगवाने के लिए आगे आएंगे। बता दें कि अभी भी प्रदेश में कई इलाकों में पोलियो ड्रॉप पिलाने को लेकर भ्रांति है, जबकि पोलियो अभियान में एक भी बच्चा छूटता है तो वह अपने शहर ही नहीं, बल्कि देश और दुनिया के लिए खतरा होता है। राज्य टीकाकरण अधिकारी ने बताया कि जिन्हें पहली बार टीका लगा होगा, उनकी उम्र अब 25 से 30 साल हो गई होगी। उनको चिन्हित करने के लिए सभी सीएमएचओ को कहा गया है। उन्हें पोलियो उन्मूलन अभियान का ब्रांड एंबेसडर होने का सर्टिफिकेट दिया जाएगा। उन्होंने बताया कि 17 जनवरी को टीकाकरण बूथ पर और इसके बाद 2 दिन तक घर-घर जाकर टीका लगाया जाएगा। डॉ. शुक्ला के मुताबिक पड़ोसी देशों में पोलियो के मरीज मौजूद होने की वजह से देश में हर साल पोलियो टीकाकरण अभियान चलाया रहा है। मध्य प्रदेश में साल में सिर्फ एक बार अभियान चलाया जाता है, जबकि कुछ राज्यों में दो बार होता है। उन्होंने बताया कि पोलियो टीकाकरण अभियान के साथ ही कोरोना टीकाकरण के लिए भी तैयारी का एक तरह से ट्रायल हो जाएगा।