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शिक्षकों को झटका,एक ही स्कूल में जमे गुरुजी का होगा दूसरे जिलों में तबादला....

पानीपथ(ईन्यूज एमपी)- प्रदेश के सरकारी स्कूलों में उन शिक्षकों को अब दूसरे जिलों में जाना होगा, जो लंबे समय से एक ही स्कूलों में जमे हुए हैं। विभाग की ओर से अब जिन स्कूलों में शिक्षक सरप्लस हैं, उनके लिए गाइडलाइन जारी कर दी है। स्कूलों में सबसे पहले सरप्लस अतिथि शिक्षकों को देखा जाएगा। यदि वे कहीं नहीं हैं तो बाकी जेबीटी में सबसे ज्यादा समय तक एक ही स्कूल में कार्यरत शिक्षकों को जिला छोड़ना होगा।


शिक्षा विभाग की ओर से इसके लिए स्कूलों और जिला वाइज शिक्षकों की संख्या तय कर दी है, लेकिन विभाग की ओर से जिस समय से बच्चों की संख्या के अनुसार अब शिक्षकों की संख्या तय की है, उसके बाद प्रदेश में 52 हजार से ज्यादा नए दाखिले हो चुके हैं। ऐसे में विभाग के सामने यह परेशानी दोबारा बन सकती है। विभाग की ओर से सरप्लस को लेकर गाइडलाइन भी जारी की है।

इसके लिए विभाग की ओर से फार्मूला भी बनाया गया है। सबसे पहले जहां सरप्लस शिक्षक हैं, वहां यदि अतिथि अध्यापक कार्यरत हैं तो उसका दूसरे जिले में तबादला किया जाएगा। हालांकि 70 फीसदी अधिक विकलांग अतिथि अध्यापक को सरप्लस नहीं किया जाएगा। इसके अलावा किसी भी स्कूल में मुख्य शिक्षक को सरप्लस नहीं किया जाएगा।


ये होंगे सरप्लस
यदि जिले में सभी अतिथि अध्यापक सरप्लस हैं तो उस स्थिति में उन्हें गेस्ट टीचर एडजस्टमेंट पॉलिसी के अनुसार दूसरे जिलों में भेजा जाएगा।
किसी स्कूल में अतिथि जेबीटी अध्यापक कार्यरत नहीं है तो उस स्थिति में स्कूल में रेगुलर जेबीटी शिक्षक को सरप्लस किया जाएगा। सरप्लस वही होगा, जो उस स्कूल सबसे ज्यादा समय से कार्यरत है।
यदि सरप्लस होने पर सीनियर जेबीटी शिक्षक के स्थान पर कोई अन्य जेबीटी शिक्षक सरप्लस होना चाहता है तो दोनों को लिखित सहमति देनी होगी। इसके बाद दूसरे को सरप्लस किया जाएगा।

ये नहीं आएंगे सरप्लस के दायरे में
किसी भी स्कूल में विधवा, 70 फीसदी से ज्यादा दिव्यांग, परित्याकता, तलाकशुदा, गंभीर बीमारी से पीड़ित और जिनका रिटायरमेंट के एक साल बाकी है, उन्हें सरप्लस की श्रेणी में शामिल नहीं किया जाएगा। हालांकि किसी स्कूल में ऐसी स्थिति बने कि वहां सभी इन कैटेगरी के हैं, तो उनमें सबसे ज्यादा समय से कार्यरत को सरप्लस किया जाएगा।

जानिए...कितने बच्चों पर होने चाहिए कितने शिक्षक

एक से 50 बच्चों पर दो शिक्षक होने चाहिए। जबकि 51 से 75 पर 3, 76 से 100 पर 4, 101 से 125 पर 5, 126 से 150 पर 6 अ ौर 176 से 200 या अधिक पर 7 शिक्षक अनिवार्य है। 126 से ज्यादा बच्चे होने पर स्कूल में एक मुख्य शिक्षक लगाया जाएगा।


तबादले के लिए खोला गया पोर्टल
इधर, शिक्षा विभाग ने इंटर डिस्ट्रिक्ट ट्रांसफर का पोर्टल भी खोल दिया है। जिसके अनुसार शिक्षक आवेदन कर सकता है। राजकीय प्राथमिक शिक्षक संघ के प्रदेशाध्यक्ष तरुण सुहाग एवं पूर्व सचिव चंद्रहास ने कहा कि सरकार ने इस पोर्टल पर गेस्ट और एडहॉक पर लगे शिक्षकों के पदों को खाली नहीं माना है, जबकि यह पहले तय किया गया था। इसके अलावा इन्होंने कहा कि मई में हजारों बच्चों के दाखिले हो चुके हैं तो बच्चों की संख्या भी इसी के अनुसार मानी जानी चाहिए न कि पिछले साल के अनुसार तय की जाए।

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