दिल्ली(ईन्यूज़ एमपी)- चारा घोटाले में सीबीआई की स्पेशल कोर्ट ने आज बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव समेत 15 आरोपियों को दोषी ठहरा दिया है। इसमें उन्हें 3 जनवरी को सजा सुनाई जाएगी। वहीं, इसी मामले में कोर्ट ने पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. जगन्नाथ मिश्रा समेत 7 आरोपियों को बरी कर दिया। पुलिस ने कोर्ट परिसर से ही लालू यादव को कस्टडी में ले लिया। सुनवाई के दौरान लालू समेत सभी 22 आरोपियों को कोर्ट में मौजूद रहने का आदेश था। चारा घोटाले में यह 33वां और लालू से जुड़ा दूसरा फैसला होगा। लालू पर चारा घोटाले के 7 केस दर्ज हैं। इससे पहले मामले में लालू को 6 साल की सजा हो चुकी है। उनके खिलाफ 5 और केस में सुनवाई जारी है। सीबीआई की विशेष अदालत ने देवघर के सरकारी ट्रैजरी से 84.53 लाख रुपए की अवैध निकासी के मामले में दोनों पूर्व सीएम और अन्य के खिलाफ अपना फैसला दिया है। इससे पहले लालू और जगन्नाथ मिश्र को चाईबासा ट्रैजरी से 45 करोड़ रुपए की अवैध तरीके से निकालने के मामले में सजा सुनाई जा चुकी है। फैसले से पहले सुबह रांची में लालू यादव ने मीडिया से कहा, मुझे न्याय मिलने का भरोसा है। फैसला जो भी मैं बिहार की जनता से अपील करता हूं कि वह कानून-व्यवस्था बनाए रखे। लालू ने कहा, अगर मैंने किसी से पैसा लिया तो सीबीआई सबूत दे। आखिर किस बात की मुझे सजा दिलाना चाहते हैं। 20 साल से मुझे परेशान किया जा रहा है, लेकिन ज्यूडीशियरी सिस्टम पर पूरा भरोसा है। टू जी की तरह इसमें भी फैसला आएगा। बीजेपी सीबीआई से मिलकर मुझे और परिवार को परेशान कर रही है। आपको बता दें, सीबीआई कोर्ट में इस केस की सुनवाई 1996 से चल रही है। सीबीआई ने 100 से ज्यादा गवाहों का बयान दर्ज कराया है। कई दस्तावेज भी अदालत में चिह्नित कराया। आरोपियों की ओर से भी बचाव में गवाह पेश किए गए। दोनों पक्षों की बहस सुनने के बाद फैसले की तारीख तय की गई है। जैसा की ज्ञात है चारा घोटाले में लालू प्रसाद यादव और जगन्नाथ मिश्र के अलावा अन्य आरोपियों में बिहार के पूर्व मंत्री विद्यासागर निषाद, जगदीश शर्मा, आरके राणा, ध्रुव भगत, फूलचंद सिंह, महेश प्रसाद, बेक जूलियस, एसी चौधरी, डॉ कृष्ण कुमार प्रसाद, सुधीर भट्टाचार्य, त्रिपुरारी मोहन प्रसाद, संजय अग्रवाल, ज्योति झा, गोपीनाथ दास, सुनील गांधी, सरस्वती चंद्र, साधना सिंह, राजाराम जोशी और सुशील कुमार शामिल हैं।