भोपाल(ईन्यूज एमपी)- पूरा विश्व इस समय कोरोना से परेशान हैं लेकिन मध्यप्रदेश में इन दिनों राजनीतिक कोरोना का भय सबसे ज्यादा देखा जा रहा हैं। जोड़-तोड़, खरीद फरोख्त,व मान सम्मान के नाम पर लोग एक दूसरे से किनारा कर रहे हैं, और तो और जो कल तक साथ थे तो इमानदार थे,दूध के धुले थे और आज पाला बदलते ही बेइमान हो गए,उनके खिलाफ जांच शुरू हो गई,कल तलक जिन विधायकों कि हैसियत महज एक अंक के समान थी आज उन्हें कोहिनूर कि तरह जतन से सम्हाल कर कड़ी सुरक्षा में रखा गया है,ये सब क्या है,कैसी राजनीति है कैसी जन सेवा है.....? बता दें कि ज्योतिरादित्य सिंधिया के खिलाफ जमीन से जुड़े दो मामलों में आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ (ईओडब्लू) ने जांच शुरू कर दी है। सिंधिया के मीडिया अधिकारी का कहना है कि इन दोनों ही मामलों को पहले सबूतों के अभाव में खत्म किया जा चुका है। बदले की भावना से सरकार इन केसों को दोबारा खुलवा रही है। वहीं भाजपा विधायक संजय पाठक की दो खदाने सील की जा चुकी हैं। इसके बाद बांधवगढ़ नेशनल पार्क स्थित उनके रिसॉर्ट को तोड़ा गया और अब खजुराहो में स्थित सायना होटल को लेकर नोटिस जारी किया गया है। प्रबंधन से होटल के लीज संबंधी सभी दस्तावेज तलब किए गए हैं। खजुराहो एसडीएम स्वप्निल वानखेड़े ने नोटिस जारी किया है। इन तमाम हालातों पर गौर करें तो एमपी कि सियासत इन दिनों बड़े हि नाजुक हालात से गुजर रही है,कौन किसके साथ है और कौन वफादार हैं कुछ भी कह पाना मुश्किल है,सत्ता बचाने व सत्ता पाने कि लिए लगी धन बल कि रेस में कौन जीतेगा कौन हारेगा इसका अंदाजा लगाना कठिन है,पर एक बात साफ है कि वर्तमान हालात एक नई परंपरा का आगाज कर रहे हैं जिसके बाद राजनीति के नए आयाम उभर कर सामने आएंगे... वहीं सियासी उठा पटक के बीच भाजपा व कांग्रेस दोनों के विधायकों को कड़े सुरक्षा इंतजाम के बीच रखा गया है और फ्लोर टेस्ट के समय ही उन्हें राजधानी भोपाल लाया जाएगा,कुल मिलाकर कहें तो अब 16 मार्च को ही तय होगा कि राजनीति का ये ऊंट किस करवट बैठेगा....?