भोपाल (ईन्यूज एमपी)- कमलनाथ सरकार 18 मार्च को वर्ष 2020-21 का बजट पेश करने की तैयारी में है। कैबिनेट बजट अनुमान को मंजूरी दे चुकी है। इसके मद्देनजर वित्त विभाग ने बजट पुस्तिकाएं छपवाना शुरू कर दिया है। वहीं, प्रदेश में चल रही सियासी उठापटक के चलते विपक्ष (भाजपा) दावा कर रहा है कि सरकार अल्पमत में है। पार्टी की रणनीति बजट सत्र की शुरुआत में ही फ्लोर टेस्ट कराने की है। यदि ऐसा होता है तो बजट खटाई में पड़ सकता है। उस स्थिति में एक अप्रैल 2020 से जरूरी खर्चों के लिए लेखानुदान लाया जाएगा। नए वित्तीय वर्ष एक अप्रैल से जरूरी खर्च के लिए सरकार को विधानसभा से बजट पारित कराना होगा। राज्यपाल का अनुमोदन मिलने के बाद वित्त विभाग बजट आवंटन देगा। मौजूदा राजनीतिक परिस्थिति में ऐसा होता नजर नहीं आ रहा है। दरअसल, भाजपा नेता कांग्रेस के 19 विधायकों के इस्तीफा लाकर विधानसभा अध्यक्ष नर्मदा प्रसाद प्रजापति को सौंप चुके हैं। राजभवन भी इन्हें मेल किया जा चुका है। ऐसे में भाजपा विधायक दल की कोशिश रहेगी कि विस में सरकारी कामकाज की शुरुआत से पहले कमलनाथ सरकार सदन में बहुमत साबित करे। कांग्रेस के पास बहुमत साबित करने का आंकड़ा हाल फिलहाल नहीं है। 228 विधायकों की विधानसभा में कांग्रेस के 114 विधायक हैं। इनमें से 22 के इस्तीफे राजभवन पहुंचे हैं। 19 विधायकों के इस्तीफे नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव, पूर्व मंत्री भूपेंद्र सिंह और डॉ.नरोत्तम मिश्रा ने विधानसभा अध्यक्ष को सौंपे हैं।