भोपाल (ईन्यूज एमपी)राज्यपाल लालजी टंडन ने राजभवन में आयोजित कार्यशाला में कहा कि आधुनिक शिक्षा व्यवस्था में बढ़ते आर्थिक दखल पर नियंत्रण किया जाना बहुत जरूरी है। इसके लिये नई सोच के साथ नीति बनाने की पहल की जानी चाहिये। राज्यपाल ने कहा कि दुनिया में भारतीय ज्ञान-परम्परा की साख है। इसे बनाये रखते हुए शिक्षा प्रणाली को नया स्वरूप दिया जाना चाहिये। उन्होंने फादर ऑफ सर्जरी सुश्रुत, गणितज्ञ आर्यभट्ट और अर्थशास्त्री चाणक्य का जिक्र करते हुए कहा कि भारत की इन हस्तियों को आज भी दुनिया मानती है। इस अवसर पर भोज मुक्त विश्वविद्यालय और महाराज छत्रसाल बुंदेलखण्ड विश्वविद्यालय के बीच पारस्परिक सहयोग के लिये एमओयू साइन किया गया।