रीवा(ईन्यूज एमपी)- पूर्व मंत्री व रीवा विधायक राजेंद्र शुक्ला को दिए नोटिस पर भाजपा नेताओं की बयानबाजी थमने का नाम नहीं ले रही है। शहर के एक मैरिज गार्डन में रविवार को एमआईसी सदस्य व भाजपा पार्षदों की बैठक को संबोधित करते हुए रीवा सांसद जनार्दन मिश्रा ने नगर निगम आयुक्त को खुली चेतावनी दी। उन्होंने आयुक्त सभाजीत यादव का नाम लेते हुए कहा कि वह रीवा को आदिवासी जिला न समझें। यह धार, झाबुआ नहीं है। रीवा में अच्छे-अच्छे को निपटा दिए हैं। हालांकि उनके इस बयान को नगर निगम आयुक्त ने व्यक्तिगत सोच बताया है। मिश्रा ने कहा कि आयुक्त मुख्यमंत्री कमलनाथ के इशारे पर काम कर रहे हैं। उनकी पदस्थापना ठेके पर हुई है। वसूली कर आधी राशि अपने पास रखते हैं और आधी भोपाल भेज देते हैं। उन्होंने 6 नंबर स्कीम के तहत बने किसी मकान को हाथ लगाने पर आयुक्त को सबक सिखाने की चेतावनी दी। मिश्रा ने आयुक्त का नाम लेते हुए कहा कि इस गलतफहमी में न रहें कि उन्होंने नोटिस जारी कर दिया तो मामला शांत हो गया। अगर चार करोड़ का नोटिस दिया है तो हम उन्हें न्यायालय में खड़ा करके आठ करोड़ मानहानि का दावा करेंगे। मालूम हो, मकान आवंटित करने में नियम का पालन नहीं करने पर पूर्व मंत्री शुक्ला को नगर निगम आयुक्त ने चार 94 लाख लाख स्र्पए जमा कराने का नोटिस पिछले दिनों दिया था। नोटिस में कहा गया है कि शुक्ला ने लोगों से राशि जमा नहीं करने को कहा था, जिससे शासन को राजस्व का नुकसान हुआ था।