मेरठ ( ईन्यूज़ एमपी ) - यूपी पुलिस की रिश्वतखोरी के बारे में तो सब जानते है कि कैसे पुलिस वाले खुलेआम रिश्वत लेते है। मेरठ में ऐसा ही मामला फिर सामने आया है, जहां एक दरोगा दहेज के मुकदमें में एफआर लगने के बाद 15 हजार रुपये की रिश्वत मांग करने लगा। पीड़ितों की शिकायत पर एंटी करप्शन टीम ने 15 हजार रुपये की रिश्वत लेते दरोगा को गिरफ्तर कर लिया। मामला मेरठ के थाना लिसाड़ी गेट का है। जहां नसरूद्दीन की बेटी गुलफ्सा ने बीती 20 फरवरी को अपने ससुरालियों के खिलाफ दहेज का मुकदमा दर्ज कराया था। इस मामले में कुछ दिन बाद ही दोनों पक्षों में फैसला हो गया था। लेकिन विवेचना कर रहे एचसीपी सुखपाल सिंह मुकदमे में फाइनल रिपोर्ट लगाने के नाम पर पीड़ितों से 15 हजार रूपये की रिश्वत की डिमांड कर रहा था। जिसमे बकायदा रिश्वतखोर एचसीपी फोन कॉल पर पीड़ितों को हड़काता था। जिससे तंग आकर पीड़ितों ने इसकी शिकायत एंटी करप्शन से की। एंटी करप्शन की टीम ने एचसीपी सुखपाल को पकड़ने के लिए जाल बिछा दिया और रुपये लेने के लिए उसे पुलिस लाइन गेट के बाहर बुलाया गया। जैसे ही नसीरुद्दीन ने 15 हजार रुपये थमाए, टीम ने सुखपाल को दबोच लिया। बता दें कि एचसीपी लिसाड़ीगेट थाने में तैनात था। लेकिन टीम आरोपी को गिरफ्तार करके सिविल लाइन थाने ले आई और मुकदमा कायम कराकर के कल कोर्ट में पेश करेगी।