सीधी (ईन्यूज एमपी): कटनी-चोपन रेल लाइन के शंकरपुर भदौरा स्टेशन पर वर्षों से इंटरसिटी और शक्तिपुंज एक्सप्रेस के स्टॉपेज की मांग को लेकर स्थानीय ग्रामीणों में उबाल है। क्षेत्रीय जनता का कहना है कि यात्री सुविधाओं और स्वास्थ्य सेवाओं के लिए यह स्टॉपेज बेहद जरूरी है, क्योंकि सीधी जिले के इस सबसे नजदीकी स्टेशन से 30 से 36 किलोमीटर की दूरी पर बसे कुसमी ब्लॉक और आदिवासी क्षेत्र के लोग जबलपुर तक सफर करने में भारी परेशानी झेल रहे हैं। शंकरपुर भदौरा न सिर्फ सीधी जिले का महत्वपूर्ण स्टेशन है, बल्कि यह छत्तीसगढ़ से सीधी को जोड़ने वाला मुख्य मार्ग भी है। यहां पर संजय टाइगर रिजर्व और आदिवासी क्षेत्रों के लोगों की आवाजाही भी होती है, इसलिए यहां रेल ठहराव बेहद जरूरी है। रेलवे प्रशासन द्वारा 1250 और 1249 किमी के बीच अंडरब्रिज निर्माण किया जा रहा है, जिसे ग्रामीण ओवरब्रिज में बदलने की मांग कर रहे हैं। अंडरब्रिज में जलभराव की समस्या और बड़े वाहनों के आवागमन में रुकावटें स्थानीय लोगों के लिए सिरदर्द बन चुकी हैं। इससे पहले भी कांग्रेस के नेतृत्व में रेल रोको आंदोलन हो चुका है, लेकिन रेल प्रशासन ने केवल मौखिक आश्वासन देकर मामले को टाल दिया। 30 नवंबर को होगा रेल रोको आंदोलन: अधूरे वादों से नाराज़ ग्रामीणों ने अब बड़ा कदम उठाने का फैसला किया है। सामाजिक कार्यकर्ता आनंद सिंह ददुआ के नेतृत्व में 30 नवंबर, शनिवार को रेल रोको आंदोलन की तैयारी की जा रही है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं होती, तब तक वे आंदोलन जारी रखेंगे। रेलवे प्रशासन के लिए यह आंदोलन एक बड़ी चुनौती साबित हो सकता है, खासकर जब क्षेत्रीय जनता का समर्थन इस आंदोलन के साथ जुड़ चुका है। अब देखना यह है कि प्रशासन इस बार भी सिर्फ आश्वासन देता है या वाकई ठोस कदम उठाता है।