मुरैना - अमर शहीद पं. रामप्रसाद विस्मिल की 88 वी पुण्य तिथि मनाई गई। इस अवसर पर प्रात: से लेकर सांय काल तक विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किये गये। प्रातरू शहीद मंदिर डाइट परिसर मुरैना से पूजा अर्चना के बाद मशाल यात्रा शुरू हुई। मशाल यात्रा संग्रहालय से होती हुई बडोखर, बडागांव अम्बाह से होती हुई अमर शहीद के पैतृक गांव बरवाई पहुची। मशाल यात्रा में जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती गीता हर्षाना, कलेक्टर श्री विनोद शर्मा, श्री विशेन्द्रपाल सिंह जादोन, वरिष्ठ जेल अधीक्षक श्री विजय सिंह मौर्य, श्रीमती मायादेवी मौर्य सहित अन्य गणमान्य नागरिक मौजूद थे। सभी ने संग्रहालय स्थिति पं. रामप्रसाद विस्मिल की मूर्ति पर माल्यार्पण, सलामी गार्ड एवं पुष्पतोप के माध्यम से सालामी दी गई। बरवाई में कार्यक्रम आयोजित किया गया जिसमें सांसद श्री अनूप मिश्रा, कलेक्टर श्री विनोद शर्मा, भाजपा जिलाध्यक्ष श्री अनूप सिंह भदोरिया, पूर्वमंत्री मुंशीलाल, सुरेन्द्र परमार एवं गणमान्य नागरिक तथा बढी संख्या में उपस्थित थे। सर्व प्रथम अतिथियों द्वारा अमर शहीद मंदिर में शहीद की प्रतिमा पर सभी ने मार्ल्यापण किया। इस अवसर पर सांसद श्री अनूप मिश्रा ने अपने उदवोधन में कहा कि आज हम अमर शहीदों के बलिदान की बजह से ही आजादी में सांस ले रहे है। उन्होने कहा कि भारत माता को दास्ता की विडियों से मुक्त कराने में अमर शहीदों का योगदान हमे प्रेरणा देता है। उन्होने बरवाई गांव में 15-20 लाख रूपये तक की लगात सें सामुदायिक भवन, नलजल योजना तथा लाइब्रोरी स्थापित करने की घोषणा की। उन्होने कहा कि मै स्वयं अपनी ओर से 1000 कितावें लाइब्रोंरी के लिए दूगा तथा बाल लाइब्रोरी स्थपित करूंगा जिससे बच्चों में पढ़ने की आदत बने। कलेक्टर श्री विनोद शर्मा ने अपने उदवोधन में कहा कि मुरैना जिले के निवासियों के लिए यह गौरव की बात है कि भारत के अमर शहीद पं. रामप्रसाद विस्मल यहां पैदा हुये। उन्होने कहा कि यहां पर सामुदायिक भवन शीघ्र स्वीकृत किया जायेगा। लाइब्रोरी बनाने तथा पेयजल समस्या के निदान हेतु शीघ्र कार्रवाई की जायेगी। उन्होने कहा कि जरूरत है कि हम आजादी के शहीदों के जीवन से प्रेरणा लें और उन्हे स्मरण करते रहे। शहीदा के बंसजों को भी नमन किया। आभार प्रदर्शन सुरेन्द्र सिंह परमार ने किया। कार्यक्रम के दौरान अमर शहीद की पुण्य स्मृति में आयोजित कार्यक्रम के दौरान शहीदों के बंसजों को साल श्रीफल से सम्मानित किया गया। अमर शहीद पं. रामप्रसाद विस्मिल के बंसज श्री ब्राजेन्द्र सिंह तोमर, प्रथम स्वाधीनता संग्राम 1857 के नायक शहीद मंगल पाण्डे के बंसज श्री रघुनाथ पाण्डे, महारानी लक्ष्मी बाई, तात्या टोपे के बंसज श्री सुभाष टोपे तथा सुभाष चन्द्र बोस के साथ कंधे से कंधा मिलारकर लडे कुरूवस्त के ढिलन के बंसज श्री सर्वजीत सिंह ढिंलन को साल श्रीफल से सम्मनित किया गया। स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों को गुलजारी लाल जैन, श्री असगर अली के परिजनों भी सम्मानित किया गया।