enewsmp.com
Home मध्य प्रदेश प्रत्येक अऋणी किसान का बीमा 31 दिसंबर तक हो जाये

प्रत्येक अऋणी किसान का बीमा 31 दिसंबर तक हो जाये

सागर : प्रदेश के उत्पादन आयुक्त श्री पी.सी.मीणा की अध्यक्षता में आज सागर में कृषि संबंधी विषयों पर आधारित संभागीय बैठक संपन्न हुई। जिसमें खरीफ 2015 की समीक्षा के साथ रबी मौसम 2015-16 कार्यक्रम का निर्धारण किया गया।
शुक्रवार को स्थानीय कमिश्नर कार्यालय सभाकक्ष में संपन्न कृषि संबंधी संभागीय बैठक में उत्पादन आयुक्त श्री पी.सी.मीणा ने कहा कि विगत दिनों भोपाल स्तर के अधिकारियों को प्रदेश के सभी जिलों के ग्रामों में भेजकर फसल नुकसान संबंधी जानकारी संकलित कराई गई। जिसमें पूरा सागर संभाग अल्प वर्षा से बुरी तरह प्रभावित पाया गया है और लगभग 65-70 प्रतिशत खरीफ फसलों का नुकसान हुआ है। इसकी समीक्षा विगत 15 दिनों से प्रदेश सरकार राज्य स्तर पर कर रही है। आज की बैठक में रबी कार्यक्रम निर्धारण पर फोकस किया जायेगा। उत्पादन आयुक्त ने कहा कि अधिकारियों ने ग्रामीण भ्रमण के पश्चात ग्रामीण क्षेत्रों में मैदानी अमले विशेष रूप से ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारियों के मुख्यालय पर नहीं रहने का प्रतिवेदन दिया है। आपने कहा कि आगामी समय में बोनी का रकबा बढ़ेगा, खाद व बीज की मांग बढ़ेगी, इसलिये कृषि विभाग का मैदानी अमला अपने गांव मुख्यालय में रहे। आपने सभी जिलो के उपसंचालक कृषि अधिकारियों को हिदायत दी कि वे अपने जिले में कृषि विस्तार अधिकारियों की मुख्यालय पर उपस्थिति सुनिश्चित करायें। जो कृषि विस्तार अधिकारी मुख्यालय पर नहीं मिलता उसके विरूद्ध दण्डात्मक कार्यवाही करें। आपने यह भी स्पष्ट किया कि यदि इसके बाद भी कृषि विस्तार अधिकारी मुख्यालय पर नहीं मिलेगा तो संबंधित उपसंचालक कृषि जिम्मेदार होंगे।
उत्पादन आयुक्त ने प्रदेश सरकार द्वारा लिये गये निर्णयों की जानकारी देते हुए निर्देशित किया कि हर जिले में प्रत्येक अऋणी किसान का कृषि बीमा अंतिम तारीख 31 दिसंबर 2015 तक कराना अनिवार्य होगा। इस हेतु सभी उपसंचालक कृषि अपने कलेक्टर के मार्गदर्शन में कार्ययोजना बना लें कि प्रत्येक अऋणी किसान का बीमा 31 दिसंबर तक हो जाये। हर जिले में अगले माह प्रत्येक किसान का मृदा स्वास्थ्य कार्ड बनाने के लिये अभियान चलेगा। उन्होंने कहा कि हर जिले में अभी औसत रूप से 40 प्रतिशत किसान ही प्राथमिक साख समिति सदस्य है अब हर जिले में शेष सभी किसानो को प्राथमिक समिति का सदस्य बनाया जाये ताकि शत-प्रतिशत किसान प्राथमिक साख समिति के सदस्य बन जाये। इस हेतु आपने कृषि अधिकारियों को समझाइश दी कि वे किसानों तक प्रदेश सरकार द्वारा लिये गये इस निर्णय की जानकारी का प्रचार करें, कि यदि कोई किसान एक लाख का ऋण लेगा तो उसे कोई ब्याज नहीं देना होगा बल्कि लिये गये ऋण राशि से 10 प्रतिशत कम अर्थात 90 हजार की राशि लौटाना होगी। किसान इस जानकारी को लेकर प्राथमिक साख समिति सदस्य बनने स्वप्रेरित आगे आयेगा।
बैठक में सहकारिता आयुक्त श्री मनीष श्रीवास्तव ने संभाग के सभी जिलो की सहकारी समितियों में आडीटर और सेल्समेन की उपस्थिति के संबंध में आश्वस्त किया। साथ ही संबंधित उपायुक्त सहकारिता को आवश्यक निर्देश दिये। उन्होंने सोसायटियों से डिफाल्टरों को भी नगद में खाद उपलब्ध कराने के निर्देश दिये।
बैठक में प्रभारी कमिश्नर श्री अशोक कुमार सिंह ने बताया कि अल्प वर्षा के कारण खरीफ 2015 में संभाग भर के जिले की 65-70 प्रतिशत फसलों की नुकसानी हुई है। अभी संभाग में 25 अक्टूबर से 30 अक्टूबर के बीच हल्की बारिश के कारण रबी फसलों की बोनी का रकबा 60 प्रतिशत बढ़ने का अनुमान है। इसके अतिरिक्त श्री सिंह ने सागर जिले से संबंधित जानकारी दी कि जिले में खाद व बीज पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध है। जिले में 13 नगद खाद विक्रय केन्द्र स्थापित है। इसके अलावा सहकारी समितियों को भी निर्देशित किया गया है कि वे 75 प्रतिशत खाद अपने ऋणी किसानो को देवें किन्तु 25 प्रतिशत खाद डिफाल्टर किसानो को भी नगद में विक्रय करें। आपने सुझाव दिया कि संभागीय मुख्यालय में बनने वाली बीज उर्वरक प्रयोगशाला का भवन बन चुका है इसके लिये आवश्यक उपकरण, अमला, फर्नीचर और यंत्रों आदि की सुविधा शीघ्र उपलब्ध कराई जाये। साथ ही केन्द्र सरकार के स्तर से मिलने वाला लायसेंस भी शीघ्र दिलवाया जाये। कलेक्टर ने मृद्रा परीक्षण कार्य के लिये स्थानीय व्यक्तियों का चयन कर कृषि प्रशिक्षण केन्द्र के माध्यम से प्रशिक्षित कराने की आवश्यकता व्यक्त की। इसके साथ ही विकासखंड स्तर पर अशासकीय कृषि पंण्डितों व वैज्ञानिकों को अधिकृत करते हुए आसपास के किसानो को कौन सी फसल लेना है, इस संबंध में मार्गदर्शन दिलवाया जाये।
पन्ना कलेक्टर श्री शिवनारायण सिंह चौहान ने जिले में चना का बीज उपलब्ध कराने की बात कही। साथ ही सोसायटियों में सेल्समेन व आडीटर की कमी की ओर ध्यान आकृष्ट कराया। बैठक में टीकमगढ कलेक्टर श्री केदारलाल शर्मा, छतपुर कलेक्टर डॉ. मसूद अख्तर और दमोह कलेक्टर श्री श्रीनिवास शर्मा ने उड़द फसल को अधिसूचित किये जाने की आवश्यकता व्यक्त की। जिससे सोयाबीन के अतिरिक्त दोनो जिलो में उड़द फसल लेने वाले किसानो को भी कृषि बीमा का लाभ मिल सके। उन्होंने किसान क्रेडिट कार्डधारी किसानो की सूची भी वेबसाइट पर लोड करने की आवश्यकता व्यक्त की।
संभागीय कृषि बैठक के प्रथम चरण में कृषि और सहकारिता की समीक्षा के दौरान उत्पादन आयुक्त श्री मीणा ने सभी जिलो के कलेक्टर्स को निर्देशित किया कि वे अपने जिले के प्रत्येक किसान का बैंक खाता खुलवाना सुनिश्चित कराये। इसके साथ ही जिले में सिंचाई तालाबो के माध्यम से जिन जिलो में एक पलेवा पानी छोड़ा जाना है वहां के किसानो को एक पानी वाली फसलों की ही बोनी कराने प्रेरित करें। उन्होंने सभी कलेक्टरो को समझाइश दी कि वे अपने जिले में ऐसी फसलें जिनका बोनी का रकबा ज्यादा है और यदि वे अधिसूचित नहीं है तो उन फसलों को अधिसूचित करने के प्रस्ताव शासन को जरूर भेंजे।

Share:

Leave a Comment