भोपाल (ईन्यूज एमपी)-स्कूल शिक्षा विभाग का राज्य स्तरीय शिक्षक सम्मान समारोह मंगलवार को भोपाल स्थित आरसीवीपी नरोन्हा प्रशासन अकादमी आश्रम में आयोजित किया जा रहा है। इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में राज्यपाल मंगू भाई पटेल मौजूद रहे। इसके अलावा स्कूल शिक्षा (स्वतंत्र प्रभार) एवं सामान्य प्रशासन राज्य मंत्री इन्दर सिंह परमार ने कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे हैं। इस अवसर पर राज्य स्तरीय शिक्षक पुरस्कार- 2023 के लिए चयनित शिक्षकों को सम्मानित । स्कूल शिक्षा गया। विभाग द्वारा राज्य स्तरीय शिक्षक पुरस्कार- 2023 के लिए चयनित शिक्षकों की जारी सूची में प्राथमिक एवं माध्यमिक शिक्षक श्रेणी में 8 और उच्चतर माध्यमिक शिक्षक श्रेणी में 6 शिक्षकों का चयन किया गया है। इस तरह कुल 14 शिक्षकों को राज्य स्तरीय शिक्षक पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। इस अवसर पर राष्ट्रीय शिक्षक पुरस्कार 2022 प्राप्त दो शिक्षकों रायसेन जिले से नीरज सक्सेना और शाजापुर जिले से ओमप्रकाश पाटीदार को भी सम्मानित किया जाएगा। सम्मानित होने वाले शिक्षकों को आयोजन के बाद एक्सपोजर विजिट भी कराई जाएगी। कभी किसी छोटे इंसान का अपमान मत करो: राज्यपाल राज्यपाल मंगू भाई पटेल ने कहा मैं आज सम्मानित हुए सभी शिक्षकों को बधाई देता हूं। सम्मान स समारोह आगे शिक्षकों को प्रोत्साहित करेगा। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के द्वारा भारत को विश्व गुरू बनाने की जिम्मेदारी इन शिक्षकों पर होगी। उन्होंने तक्ष शिला और नालंदा जैसी संस्थान का उदाहरण दिया और कहा कि तब लोग हमारे यहां पढ़ने आते थे। मेरा मानना है कि आदर्श विद्यालय की कल्पना आदर्श शिक्षक के बिना नहीं हो सकती है। उन्होंने कहा कि तुम किसी का सम्मान नहीं करो मगर कभी छोटे इंसान का अपना नहीं करना चाहिए। इसके लिए उन्होंने उदाहरण भी दिए। उन्होंने कहा कि एक बार लिफ्ट अटक गई युवक ने लिफ्टमेन को चांटा लगा दिया। उन्होंने कहा कि पढ़ा लिखा आदमी आक्रोश में आकार कई बार ऐसा व्यवहार करता है। पढ़े लिखे आदमी के शिक्षा के साथ आचरण, व्यवहार और संस्कार भी मायने रखते हैं मगर कभी किसी छोटे आदमी का अपमान नहीं करना,क्योंकि उसको जो चोट लगती है ना वह जिंदगी भर नहीं भूलता। इसलिए बच्चे को ऐसा तैयार करो कि वह आगे जाकर देश का नाम रोशन करे। शिक्षकों का काम साधारण नहीं असाधारण इस मौके पर मंत्री इंदर सिंह परमार ने कहा सरकार ने नीतियों में बदलाव किया है एक लंबे समय से इस देश की शिक्षा को एक बोझ के रूप में हमारे ऊपर थोपने का काम लोग करते आए थे। जो पहले शिक्षा पद्धति थी वह विदेशी मानसिकता से प्रेषित थी। जब 2047 में हम जब शिक्षक दिवस मनाएंगे, जब शक्तिशाली भारत के रूप में देखे जाएंगे। मुझे लगता है कि मप्र में हमने गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देंगे। भारत की ज्ञान परंपरा दुनिया के किसी देश से कम नहीं है। इसलिए हमें हीन भावना से मुक्त होकर कहना होगा कि हां हम कर सकते हैं। ऐसे लोगों का निर्माण करने का दायित्व आप सभी शिक्षकों पर है। हम अपने कार्य का आकलन करें। क्योंकि आपका काम साधारण नहीं असाधारण है। इनका हुआ सम्मान चयनित शिक्षकों में प्राथमिक एवं माध्यमिक (कक्षा 1 से 8) शिक्षक श्रेणी राजगढ़ जिले से प्राथमिक शिक्षक पूजा पनवार। बालाघाट जिले से प्राथमिक शिक्षक तिलोतमा कटरे। दमोह जिले से प्राथमिक शिक्षक संध्या तंतुवाय। सीधी जिले से प्राथमिक शिक्षक शैलेन्द्र प्रताप सिंह। इंदौर जिले से सहायक शिक्षक नमिता दुबे। ग्वालियर जिले से सहायक शिक्षक सुनीता पाठक। सिंगरौली जिले से माध्यमिक शिक्षक शरद कुमार पांडे। दमोह जिले से माध्यमिक शिक्षक विमल कुमार पटेल। उच्चतर माध्यमिक (कक्षा 9-12) शिक्षक श्रेणी में मुरैना जिले से उच्च माध्यमिक शिक्षक राकेश कुमार शर्मा। उज्जैन जिले से शिक्षक राजेश राठौर। छिंदवाड़ा जिले से माध्यमिक शिक्षक मनीषा जैन। सागर जिले से माध्यमिक शिक्षक शालिनी। बड़वानी जिले से सहायक शिक्षक अजय यादव। उज्जैन जिले से प्राचार्य अशोक कुमार सक्सेना ।