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Home मध्य प्रदेश वृंदावन की सुप्रसिद्ध कथावाचक सुश्री आरती भारद्वाज से खास बातचीत...

वृंदावन की सुप्रसिद्ध कथावाचक सुश्री आरती भारद्वाज से खास बातचीत...

भोपाल(ईन्यूज एमपी)- भेल संगम कॉलोनी में चल रही सात दिवसीय श्रीमद् भागवत कथा के आयोजन में वृंदावन धाम से पधारीं कथा व्यास सुश्री आरती भारद्वाज से ईन्यूज एमपी की टीम ने खास मुलाकात की, इस अवसर पर हमने उनसे धर्म से जुड़े कई मुद्दों पर बात की,हर सवाल का सुश्री आरती भारद्वाज ने बेबाक जबाव दिया।

उन्होंने बताया कि वह एक सामान्य परिवार से आती है ब्राह्मण परिवार से होने के नाते धर्म से तो उनका जन्म से ही नाता है लेकिन एकाएक मुझे ठाकुरजी के दर्शन हुए और मैं उनकी भक्ति में रम गई। भगवान के गुणगान और कथा करने की जब घर में बात चली तो पिताजी ने भी इस धार्मिक कार्य के लिए खुश होकर सहमति जताई। साल 2008 से उन्होंने व्यास गादी से कथा करना प्रारंभ किया।

आज के युग में दिखावा ज्यादा...
सुश्री आरती भारद्वाज ने बताया कि आज समाज में धार्मिक आयोजन तो बड़े हैं कई कथाएं,सुंदरकांड और भंडारे के आयोजन हो रहे हैं लेकिन लोग धर्म को अपनी जीवनशैली में नहीं उतार रहे हैं दिखावा ज्यादा कर रहे हैं। इसलिए धर्म के रास्ते पर चलने के लिए हमेशा सत्य बोलना चाहिए कभी किसी का बुरा ना हो इसका हमेशा ख्याल रखना चाहिए।

धर्म से ब्राह्मण भी भटके...
क्या ब्राह्मण भी धर्म के रास्ते से भटक रहे इस सवाल पर उन्होंने कहा कि कलयुग का प्रभाव ब्राह्मणों पर भी है उनका भी गलत खानपान शुरु हुआ है जिससे धर्म को हानि हुई है। उन्होंने कहा कि ब्राह्मण भी इस बात का ख्याल रखें और धर्म के रास्ते पर ही चलें।

बेटियों को भी दी सीख...
सुश्री आरती भारद्वाज ने कहा कि बहन-बेटी कितनी भी बड़ी क्यों न हो जाए उसे अपने माता-पिता का हाथ कभी नहीं छोड़ना चाहिए और उनका हमेशा ख्याल रखना चाहिए।किसी के बहकावे में न आएं क्योंकि महिलाओं पर ही सारा धर्म टिका हुआ है।

धर्म पर छींटाकशी करने वालों के लिए जबाव देते हुए व्यासजी ने कहा कि कई लोग धर्म को व्यापार से जोड़कर देखते हैं असल में वो प्रभु की भक्ति देखना ही नहीं चाहते।जो व्यापार करते है ये उन्हें भुगतना है आप तो प्रभु का नाम लो अपनी जुबान क्यों गंदी करते हो।

क्यों न करें महिलाएं कथा....
व्यास गादी पर महिलाओं के न बैठने की संतों की सोच पर प्रहार करते हुए सुश्री आरती भारद्वाज ने कहा कि ये बहुत छोटी मानसिकता है बड़े-बड़े गुरुओं को भी एक महिला ने ही जन्मा है फिर आखिर उनके व्यास गादी पर बैठने से कैसी आपत्ति। मैं ब्राह्मण कुल से हूं और मुझे भक्ति करने का पूरा अधिकार है।
व्यासजी के साथ आचार्य भूपेंद्र भारद्वाज, मथुरा आकाशवाणी के कलाकार दुष्यंत कुमार, गिरीश कुमार, योगेंद्र कुमार कथा में उनका साथ दे रहे हैं।

कथा का आज रहेगा विश्राम...
आयोजक डीएस राजपूत ने बताया कि आज शनिवार को कथा का विश्राम दिवस है और इस मौके पर भंडारे का आयोजन रखा गया है जिसमें अधिक से अधिक भक्तगण पधारें।

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