enewsmp.com
Home मध्य प्रदेश मांडन पंचायत में भारी भ्रष्टाचार, मृतक के नाम पर भी निकाले जा रहे हजारो रुपये ----

मांडन पंचायत में भारी भ्रष्टाचार, मृतक के नाम पर भी निकाले जा रहे हजारो रुपये ----

झाबुआ (ईन्यूज एमपी)-पेटलावाद। सरकार द्वारा आदिवासी बाहुल्य क्षेत्रो के लिए तरह तरह की लाभकारी योजनाएं चलाई जा रही है, जिससे ग्रामीणों को भी बेहतर सुविधाए दी जा सके। पंचायत स्तर पर सरकार द्वारा लाखो रुपये की राशि भेजी जाती है जिससे अच्छे सड़क, पानी बिजली, शौचालय,खेल मैदान जैसी सुविधाए दी जा सके लेकिन वहां बैठे पंचायत के सरपंच, सचिव उन योजनाओं को पलीता लागते हुए अपना भंडार भरने में लगे हुए है। सरकार द्वारा जो राशि भेजी जाती है वह कागजो पर ही दिखाई देती है, असल मे उसका 10 प्रतिशत ही जमीनी स्तर पर लगाया जाता है। सरकार की कल्याणकारी योजनाओं में गरीब वर्ग के लोगो ही काम देने की प्राथमिकता होती है लेकिन ऐसा दूर दूर तक नही दिखाई दे रहा है, कुर्सी पर विराजमान भ्रष्ठ अधिकारियों ने अपने ही भंडार भरे है और अपने परिवार के लोगो का ही कल्याण किया है।
मामला ग्राम मांडन का है जहाँ के सरपंच सचिव सह सचिव की मिली भगत के चलते ग्राम में बड़े पैमाने पर भर्ष्टाचार किया जा रहा है, जनता के पैसे को अपनी जेब मे रखते हुए ग्राम में घटिया काम किया जा रहा है। जिस बात की खबर हमे ग्रामीणों द्वारा दी गयी जिस पर हमारी टीम मौके पर पहुची तो देखा कि लाखों रुपये की लागत से बना खेल मैदान अपनी दूरदर्शा पर आंसू बहा रहा है जिस खेल मैदान में खेल वस्तुएं दिखाई देना थी वहां चारो ओर पत्थर ही पत्थर पड़े हुए है, खेल मैदान का जहा चयन किया उसके आस पास दो तालाब बने हुए है जो भी खतरे का इशारा करते है, खेल मैदान में भी पूरी तरह गबन किया है जितना पैसा वहां लगाना था उसमें से वहां मानो 10 प्रतिशत भी दिखाई नही दे रहा है। खेल मैदान का निर्माण घटिया तरीक़े से किया गया है।
साथ ही मनरेगा 2014 में किये गए कार्यो का भुगतान भी अभी तक नही किया गया है जिससे भी ग्रामीणों में काफी आक्रोश है।
ग्रामीणों ने आरोप लगाते हुए कहा है कि जो पंचायत की कुर्सी पर बैठे उन्होंने अपने परिवार के लोगो को ही काम दिया है हमे उपेक्षा का शिकार होना पड़ रहा है। लगातार पंचायत में बैठे मंत्री,सरपंच, सह सचिव द्वारा ग्राम वासियो के साथ छल किया जा रहा है जो आर्थिक स्थिति से मजबूत लोग है उन्हें ही योजनाओं का लाभ दिया जा रहा है, गरीब आदिवासियों को योजनाओं की जानकारी ना होने के चलते अंधेरे में रखा जा रहा है। ग्रामीणों ने सीधे आरोप लगाते हुए कहा कि सह सचिव ने अपने परिवार के लोगों की मनरेगा के तहत फ़र्ज़ी हाज़रिया भरकर हज़ारों रुपये का भुगतान कर लिया है , वही फ़र्ज़ी बिल लगाकर भी कई भुगतान निकाले है जिसमें केवल काग़ज़ों पर ही कार्य किए हैं जबकि ज़मीनी हक़ीक़त कुछ और ही बायाँ कर
रहीं है। ओर इन सबसे भी बढ़कर एक मामला सामने आया है जिसमे म्रतक के नाम पर मनरेगा में राशि निकाली गई है ग्राम मांडन निवासी मृतक कमलेश पाटीदार जिसकी मोत करीब 8 से 10 पहले हो गयी थी जिसके नाम से फर्जी तरीके से राशि निकाली जा रही है। जिसकी खबर म्रतक के परिवार को भी नही, कागजो पर म्रतक से मनरेगा में काम करवाया जा रहा है और उसकी फर्जी राशि वसूली जा रही है।
पंचायत में बैठे इन महाशयो की हठधर्मीयता के चलते ग्रामवसीयो में काफी आक्रोश है। जल्द ही उच्च अधिकारियों को मामला संज्ञान में लेते हुए पंचायत में बैठे भ्रष्ठचारियो पर कार्यवाही करनी चाहिए वरना सरकार की मंशा कभी पूरी नही हो सकती और ना ही कभी गरीब गरीबी से बाहर निकल पायेगा।
----------------------------
करेगे कार्यवाही ---
इस संबंध में जब हमने जिला पंचायत सीईओ श्रीमती जमुना भिड़ें से चर्चा की तो उनका कहना था कि आपके द्वारा हमे जानकारी दी गयी है मामले में जांच कर दोषियों के खिलाफ उचित कार्यवाही की जाएगी। ।
वही अनुविभागीय अधिकारी हर्षल पंचोली द्वारा भी मामले की जांच कर कार्यवाही करने की बात कही है।

Share:

Leave a Comment